संयुक्त राष्ट्र महासचिव का संदेश
अंतरराष्ट्रीय दासता एवं परा-अटलांटिक दास व्यापार पीड़ित स्मृति दिवस
25 मार्च 2018
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेश का संदेश
परा-अटलांटिक दास व्यापार इतिहास में इंसानी बर्बरता का एक सबसे भयावह प्रतीक था। हमें सदियों तक अफ्रीका और अन्य क्षेत्रों में हुए इन अपराधों और उनके प्रभावों को कभी नहीं भूलना चाहिए।
संयुक्त राष्ट्र का रिमेम्बर स्लेवरी प्रोग्राम (दासता को याद रखो कार्यक्रम)यह सुनिश्चित करने में मदद करता है कि आज सबक सीखे जा रहे हैं और उन पर ध्यान दिया जा रहा है।
दास बनाए गए लोग उस कानूनी व्यवस्था से जूझते रहे जिसके गलत होने की जानकारी उन्हें थी। अनेक अवसरों पर उन्होंने आज़ादी पाने की उम्मीद में अपनी जान कुर्बान कर दी।
हमें उन लोगों के किस्से सुनाने चाहिए जो अपना दमन करने वालों के सामने डटे रहे और उनके साहसिक प्रतिरोध को मान्यता देनी चाहिए।
इस अंतर्राष्ट्रीय स्मृति दिवस पर हम अफ्रीका के उन लाखों नर-नारी और बच्चों को श्रद्धांजलि देते हैं जिन्हें उनकी मानवीय पहचान से वंचित रखा गया और ऐसी जघन्य क्रूरता सहने पर मजबूर किया गया।
दासता के इस समय प्रचलित रूपों का विरोध कर, हमारे दौर में नस्लवाद के खतरों के प्रति जागरूकता बढ़ा कर औऱ आज अफ्रीकी मूल के सभी लोगों के लिए न्याय और समान अवसर सुनिश्चित कर हम उनका सम्मान करते हैं।